सोशल साइट्स का भी हो रहा जमकर इस्तेमाल
पटना। हिन्दुस्तान ब्यूरो। फेसबुक और ट्विटर जैसे सोशल साइट की ताकत राजनीतिक पार्टियां और नेता समझ गए हैं। अपनी बात लोगों तक पहुंचाने के लिए उनके द्वारा विधानसभा उप चुनाव मंे इनका जमकर इस्तेमाल हो रहा...
पटना। हिन्दुस्तान ब्यूरो। फेसबुक और ट्विटर जैसे सोशल साइट की ताकत राजनीतिक पार्टियां और नेता समझ गए हैं। अपनी बात लोगों तक पहुंचाने के लिए उनके द्वारा विधानसभा उप चुनाव मंे इनका जमकर इस्तेमाल हो रहा है। सबसे बड़ी बात यह है कि इसमें कोई खर्च भी नहीं है। बस पोस्ट कीजिए और सैकड़ों-हजारों लोगों तक पहुंच गई आपकी बात।
यदि आपके फ्रेंड ने शेयर कर दिया तो बात आसानी से और आगे तक जाएगी। यह भी गौरतलब है कि इंटरनेट का इस्तेमाल करने वाला आम नहीं बल्कि खास वर्ग होता है। इसके यूजर ज्यादातर युवा होते हैं और इनका फ्रेंड सर्किल भी बड़ा होता है। यही कारण है कि नेता अपने विचारों के साथ ही विरोधियों पर आक्षेप लगाने के लिए भी इस माध्यम का इस्तेमाल कर रहे हैं। पूर्व मुख्यमंत्री नीतीश कुमार नियमित रूप से इसके माध्यम से अपने विचार पोस्ट कर रहे हैं।
इसके केन्द्र में बिहार का विकास और जदयू सरकार की नीतियां रहती हैं। इसके जरिए वह भाजपा और केन्द्र की एनडीए सरकार पर भी निशाना साधते हैं। पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी अपने फेसबुक और ट्विटर सोशल साइट को अपडेट रखते हैं। हाल के दिनों में उनके निशाने पर मुख्य रूप से जदयू-राजद और कांग्रेस का गठबंधन रहा है। विपक्ष के नेता नंदकिशोर यादव और प्रदेश अध्यक्ष मंगल पांडेय का पहले से फेसबुक पेज है, जिसका समय-समय पर वे इस्तेमाल करते हैं।
इधर जदयू के प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह और जल संसाधन मंत्री विजय कुमार चौधरी भी अब विरोधियों पर प्रहार के लिए इसका इस्तेमाल करने लगे हैं। अपने ताजा पोस्ट में दोनों ने भाजपा नेतृत्व को निशाने पर लिया।
राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद और लोजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामविलास पासवान भी फेसबुक पर आ गए हैं। श्री पासवान ने इसके जरिए स्वतंत्रता दिवस की शुभकामना भी दी। वहीं केन्द्रीय मंत्री और रालोसपा नेता उपेन्द्र कुशवाहा तो ट्विटर पर अपने फॉलोअर की संख्या बढ़ाने में लगे हैं। बिहार के सांसदों में पप्पू यादव का फेसबुक साइट भी काफी अपडेट रहता है।