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अब होगी मोदी की लहर की असली अग्नि परीक्षा

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी के पक्ष में लहर चलने के दावे की असली अग्नि परीक्षा शेष चार चरणों के मतदान के दौरान होगी, जहां इस पार्टी का प्रदर्शन अब तक फीका...

अब होगी मोदी की लहर की असली अग्नि परीक्षा
एजेंसीSun, 20 Apr 2014 01:23 PM
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भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी के पक्ष में लहर चलने के दावे की असली अग्नि परीक्षा शेष चार चरणों के मतदान के दौरान होगी, जहां इस पार्टी का प्रदर्शन अब तक फीका रहा है।

सोलहवीं लोकसभा के लिये मतदान के बाकी बचे चार चरणों की 311 सीटों में से केवल 57 सीटें भाजपा के पास हैं, जबकि इनमें से 109 पर कांग्रेस का कब्जा है। इन चार चरणों में जिन राज्यों में चुनाव होना है उनमें उत्तर प्रदेश, बिहार, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और पश्चिम बंगाल जैसे सीटों के लिहाज से बड़े राज्य शामिल हैं।

इन राज्यों में कुल मिलाकर 205 सीटों पर अभी चुनाव होना है। पिछले आम चुनावों की बात की जाये तो कुछ हद तक बिहार को छोड़कर इन राज्यों में भाजपा का प्रदर्शन ना के बराबर रहा था। भाजपा को अगर अपने मिशन 272 को पाना है तो पार्टी को इन चरणों में चमत्कारी प्रदर्शन करना होगा। भाजपा भी इस बात को बहुत अच्छी तरह से समझ रही है इसीलिये उसने तमिलनाडु में डीएमडी के सहित पांच दलों तथा आंध्र प्रदेश में तेलुगू देशम के साथ गठबंधन किया है।

पिछले चुनाव में इन दोनों राज्यो में पार्टी अपना खाता भी नहीं खोल पायी थी। इन दोनों राज्यों में लोकसभा की कुल 81 सीटें हैं। तमिलनाडु में पांच दलों के साथ गठबंधन से भाजपा को वहां कमल खिलने की उम्मीद जगी है, इसीलिये मोदी ने जयजलिता के साथ अपने संबंधों को किनारे रखकर उनपर भी हमले शुरू कर दिये हैं, जिसका वह भी करारा जबाब दे रही हैं।

उत्तर प्रदेश तथा बिहार जहां से सर्वाधिक 120 सांसद लोकसभा जाते हैं वहां की 86 सीटें अगले चरणों में मतदान के लिये जायेंगी। उत्तर प्रदेश में मुलायम सिंह की समाजवादी पार्टी और बिहार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का जनता दल और लालू प्रसाद यादव का राष्ट्रीय जनता दल भाजपा का खेल बिगाड़ने में पूरी तरह सक्षम हैं।

पश्चिम बंगाल में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी मोदी का विजय रथ रोकने के लिये जी जान से कोशिश कर रही हैं। यहां से लोकसभा की 42 सीटों में से 38 सीटों पर चुनाव होना शेष है और अभी तक भाजपा का यहां कोई खास प्रदर्शन नहीं रहा है। पंजाब की सभी 13 सीटों पर सातवें चरण में तीस अप्रैल को चुनाव होना है। भाजपा यहां शिरोमणि अकाली दल के साथ पिछले आठ साल से सरकार चला रही है। यहां मोदी लहर को सत्ता विरोधी लहर से पार पाना होगा।

पिछले चुनाव में इस गठबंधन को केवल पांच सीटें मिली थीं। हालांकि उसके बाद हुए विधानसभा चुनावों में इसने कांग्रेस को शिकस्त देकर सत्ता पर कब्जा बरकरार रखा था। लोकसभा के लिये होने वाले मतदान के बाकी बचे चार चरणों में भाजपा तथा कांग्रेस ने उत्तर प्रदेश में खासकर पूरी ताकत झोंकी हुयी है। यहां मोदी के अलावा कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह तथा कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष मुलायम सिंह तथा आप संयोजक अरविंद केजरीवाल की व्यक्तिगत प्रतिष्ठा के साथ ही इन पार्टियों के राजनीतिक भविष्य भी दांव पर लगे हुए हैं।

मिशन 272 के तहत भाजपा की उत्तर प्रदेश की 80 सीटों पर विशेष नजर है और मोदी ने सोची समझी रणनीति के तहत अपने विश्वस्त अमित शाह को महीनों पहले यहां की जिम्मेदारी सौंप दी थी और बाद में खुद वाराणसी से चुनाव मैदान में कूदने का फैसला किया। मोदी यहां लगातार रैलियां कर रहे हैं और 24 अप्रैल को पूरे लाव लश्कर के साथ अपना नामांकन पत्र दाखिल करेंगे। कांग्रेस और समाजवादी पार्टी के अलावा बहुजन समाज पार्टी भी मोदी को पूरी ताकत से मोदी को रोकने में लगी हुयी है।

अगले चरण में गुजरात अकेला ऐसा राज्य है जहां से मोदी को अधिकतर सीटें जीतने में कोई खास कठिनाई नहीं दिखती प्रतीत होती। इसके अलावा मध्य प्रदेश की बाकी बची दस, छत्तीसगढ़ की सात, राजस्थान और उत्तराखंड की पांच-पांच तथा हिमांचल प्रदेश की चार सीटों पर भी मतदान होना है, जहां से भजपा को अच्छी खबर की उम्मीद है। महाराष्ट्र की शेष 19 सीटों पर 24 अप्रैल को चुनाव होना है और यहां भाजपा-शिवसेना गठबंधन की कांग्रेस-एनसीपी गठबंधन से कड़ी टक्कर है।

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