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केजरीवाल ने मांगी माफी, परिवार ने की सीबीआई जांच की मांग

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को किसान खुदकुशी प्रकरण पर माफी मांगी। उन्होंने कहा,‘गजेंद्र द्वारा फांसी लगाने के बावजूद भाषण जारी रखना और रैली को चलने देना मेरी भूल थी। अगर...

केजरीवाल ने मांगी माफी, परिवार ने की सीबीआई जांच की मांग
लाइव हिन्दुस्तान टीमSat, 25 Apr 2015 09:35 AM
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दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को किसान खुदकुशी प्रकरण पर माफी मांगी। उन्होंने कहा,‘गजेंद्र द्वारा फांसी लगाने के बावजूद भाषण जारी रखना और रैली को चलने देना मेरी भूल थी। अगर इससे किसी की संवेदनाओं को ठेस पहुंची है तो मैं माफी मांगता हूं।’

इससे इतर, एक न्यूज चैनल पर गजेंद्र की बेटी से बात करते हुए ‘आप’नेता आशुतोष रो पड़े। तो संजय सिंह पीड़ित परिजनों को आर्थिक मदद देने दौसा पहुंचे।

मुझे नहीं बोलना चाहिए था : घटना को लेकर चौतरफा आलोचना का सामना कर रहे केजरीवाल ने कहा, ‘रैली के दौरान मैं एक घंटा भाषण देने वाला था। बावजूद इसके मैंने भाषण 10-15 मिनट में खत्म कर दिया। मुझे लगता है कि मेरा फैसला गलत था। मुझे नहीं बोलना चाहिए था।’

मुद्दे पर राजनीति बंद हो : विपक्षी दलों समेत मीडिया की निंदा करते हुए उन्होंने कहा, घटना काफी विचलित करने वाली थी। चूंकि घटना मेरी आंखों के सामने घटी थी, इसलिए मैं उस रात सो नहीं सका। इस मुद्दे पर अब राजनीति बंद हो।

माफी खारिज, सीबीआई जांच की मांग: केजरीवाल द्वारा घटना को लेकर मांगी गई माफी गजेंद्र के परिजनों ने खारिज कर दी। उन्होंने इस मामले की जांच सीबीआई से कराने की मांग उठाई।

खुफिया विभाग कर रहा संपर्क
गजेन्द्र खुदकुशी के मामले की जांच खुफिया विभाग भी कर रहे हैं। उन्होंने कई ऐसे लोगों से संपर्क किया है जिन्होंने घटना वाले दिन गजेन्द्र से फोन पर बातचीत की थी। उन्होंने गजेन्द्र के चाचा नरेन्द्र सिंह को भी फोन कर जानकारी जुटाई।

नरेन्द्र के अनुसार बीते 22 अप्रैल की सुबह 8 बजकर चार मिनट पर उनकी बात गजेन्द्र से हुई थी। गजेन्द्र ने फोन कर उन्हें बताया था कि वह दिल्ली पहुंच गया है। दोपहर का खाना खाने के लिए वह उनके घर पर आएगा। इसके बाद 8 बजकर 59 मिनट पर उन्होंने गजेन्द्र को फोन किया था। गजेन्द्र ने बताया कि वह किसी काम से जा रहा है और दोपहर तक उनके पास पहुंच जाएगा।

उन्होने बताया कि उसकी खुदकुशी के बाद बीते 23 अप्रैल को उन्हें अलग-अलग नंबरों से फोन आए। फोन करने वाले लोगों ने खुद को खुफिया विभाग से बताया और गजेन्द्र के बारे में पूछताछ की। नरेन्द्र की माने तो कुछ अन्य लोगों से भी खुफिया विभाग ने संपर्क किया है।

आशुतोष फफक पड़े
मेघा आप मेरी बेटी जैसी हो। मैं आपका गुनहगार हूं। मैं उस समय मंच पर था। आपके पिता को नहीं बचा पाया। हम लोग रात भर सोए नहीं हैं। बहुत तकलीफ है। इस देश के नेताओं को समझना होगा। इस मुद्दे पर राजनीति गलत है।
(एक न्यूज चैनल पर गजेंद्र सिंह की बेटी से बात करते हुए आशुतोष रो पड़े थे)

संजय सिंह ने हाथ जोड़े
‘आप’ नेता संजय सिंह शुक्रवार को दौसा पहुंचे। उन्होंने गजेंद्र के परिजनों से हाथ जोड़कर घटना के लिए खेद जताया। बाद में उन्होंने कहा, हम गजेंद्र को शहीद का दर्जा दिए जाने की मांग और उसके एक बच्चे को सरकारी नौकरी दिलाने का प्रस्ताव दिल्ली सरकार के आगे रखेंगे।

खुदकुशी की इस घटना के लिए किसी को जिम्मेदार ठहराना उचित नहीं होगा। पुलिस को भी इस प्रकरण में दोषी नहीं कहा जा सकता।
-अरविंद केजरीवाल, सीएम दिल्ली

मां का गुस्सा फूटा
केजरीवाल के माफी मांगने पर गजेंद्र की मां शकुंतला का गुस्सा फूट पड़ा। उन्होंने कहा, क्या माफी से मेरा बेटा गजेंद्र वापस लौट सकता है। अगर ऐसा है तो मैं उनके (केजरीवाल) पैरों पर गिर कर उनसे माफी मांगती हूं, अब मेरा बेटा मुझे लौटा दो। वहीं गजेंद्र के भाई ने कहा, केजरीवाल मामले का सच सामने लाएं।

जिला मजिस्ट्रेट जांच शुरू
नई दिल्ली के जिला मजिस्ट्रेट ने पुलिस की आपत्तियों से इत्तेफाक न रखते हुए शुक्रवार को गजेंद्र द्वारा खुदकुशी किए जाने की जांच शुरू कर दी। हालांकि दिल्ली पुलिस ने मजिस्ट्रेट के साथ घटनाक्रम की सूचनाएं साझा करने से मना कर दिया है।

जिला मजिस्ट्रेट ने शुरू की जांच
अधिकार क्षेत्र पर दिल्ली पुलिस की आपत्तियों से इत्तेफाक नहीं रखते हुए नई दिल्ली के जिला मजिस्ट्रेट ने ‘आप’ रैली के दौरान राजस्थान के किसान गजेन्द्र सिंह खुदकुशी मामले की जांच शुरू कर दी है। उन्होंने घटना के बारे में लोगों के पास मौजूद किसी भी सूचना या साक्ष्य को साझा करने की अपील की है।

जिला मजिस्ट्रेट संजय कुमार ने शुक्रवार को इस संबंध में एक सार्वजनिक नोटिस भी जारी किया। उन्होंने टीवी चैनलों से भी वीडियो फुटेज की मांग की है। कुमार ने नियमों का हवाला देते हुए पुलिस से शुक्रवार सुबह 11 बजे तक साक्ष्य मुहैया कराने को कहा था और ऐसा नहीं होने पर उन्होंने कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी थी।

दूसरी तरफ, पुलिस झुकने को तैयार नहीं है। दिल्ली पुलिस के प्रवक्ता राजन भगत ने कहा कि पुलिस के पास सीआरपीसी और दिल्ली पुलिस एक्ट के तहत मामले की जांच करने का अधिकार है। अगर इसे लेकर किसी को शक है तो वह कानूनी राय ले सकता है। पुलिस के अनुसार वर्ष 2014 में दिल्ली में 7,545 लोगों की अप्राकृतिक मौत हुई। इनमें खुदकुशी के भी काफी मामले हैं, लेकिन सरकार ने इनमें से किसी भी मामले की जांच में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई।

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