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पंजाब के सामने कोलकाता की गंभीर चुनौती

पिछले मुकाबलों में शिकस्त झेल चुकी गत चैंपियन कोलकाता नाइटराइडर्स और गत उपविजेता किंग्स इलेवन पंजाब संतुलित टीमें होने के बावजूद अभी तक आईपीएल आठ में अपनी मजबूत छाप छोडम्ने में नाकाम रही हैं और...

पंजाब के सामने कोलकाता की गंभीर चुनौती
एजेंसीFri, 17 Apr 2015 04:10 PM
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पिछले मुकाबलों में शिकस्त झेल चुकी गत चैंपियन कोलकाता नाइटराइडर्स और गत उपविजेता किंग्स इलेवन पंजाब संतुलित टीमें होने के बावजूद अभी तक आईपीएल आठ में अपनी मजबूत छाप छोडम्ने में नाकाम रही हैं और शनिवार को अहम मुकाबले में एक दूसरे के खिलाफ कड़ी चुनौती के लिये उतरेंगी।
      
गौतम गंभीर की कप्तानी में अच्छी शुरुआत करने वाली कोलकाता ने रॉयल चैलेंजर्स बेंगलोर से अपना पिछला मैच हारा था और दो मैचों में एक जीत और एक हार के साथ वह अंकतालिका में तीसरे स्थान पर है जबकि पंजाब तीन मैचों में केवल एक ही जीत सकी है और पांचवें नंबर पर है। पंजाब को पिछले मुकाबले में दिल्ली डेयरडेविल्स ने हराया था।
       
दोनों ही टीमें अपने अपने आखिरी मुकाबलों में हार के बाद कुछ दबाव में होंगी और जीत के लिये मजबूत रणनीति और सुधार के साथ एक दूसरे के सामने कड़ी चुनौती पेश करेंगी। हालांकि केकेआर के लिये यहां कुछ नुकसान की स्थिति दिख रही है जिसे संभवत टीम के सर्वश्रेष्ठ स्कोरर गंभीर के बिना मैदान पर उतरना पड़ सकता है। 
       
सूत्रों के अनुसार गंभीर को बुखार हैं और वह संभवत पंजाब के खिलाफ मैच से हट सकते हैं। फिलहाल यह सब अटकलें हैं लेकिन यदि ऐसा हुआ तो सूर्यकुमार यादव, मनीष  पांडे, शाकिब अल हसन, यूसुफ पठान और राबिन उथप्पा को बल्ले से अतिरिक्त जिम्मेदारी उठानी पड़ सकती है। बड़े शॉट्स के लिये मशहूर यूसुफ ने पिछले दो मैचों में केवल 17 रन ही बनाये हैं जबकि उथप्पा भी फिलहाल बहुत प्रभावित नहीं कर सके हैं।

पंजाब एक अच्छी और संतुलित टीम है और कोई भी विपक्षी टीम उसे कमजोर आंकने की गलती नहीं कर सकती है। पंजाब के पास कप्तान जॉर्ज बैली, मुरली विजय, वीरेंद्र सहवाग, डेविड मिलर और धाकड़ बल्लेबाज ग्लेन मैक्सवेल के रूप में कमाल का बल्लेबाजी क्रम है जबकि मिशेल जॉनसन, अनुरीत सिंह, अक्षर पटेल और संदीप शर्मा जैसे सक्षम गेंदबाज हैं। अनुरीत ने पिछले तीन मैचों में टीम के लिये सर्वाधिक सात विकेट लिये हैं जबकि बाकी गेंदबाजों ने भी संतोषजनक प्रदर्शन किया है।
        
दूसरी ओर कोलकाता के गेंदबाज अब तक कुछ खास नहीं कर पाये हैं। वेस्टइंडीज के अबुझ स्पिनर सुनील नारायण को लेकर टीम ने जहां आईपीएल तक से हटने की धमकी दे दी थी वह पिछले दो मुकाबलों में एक विकेट तक नहीं ले सके हैं इसके अलावा पीयूष चावला, आंद्रे रसेल के हाथ भी खाली रहे हैं। उमेश यादव ने एक मैच खेला है और विश्वकप में अच्छा प्रदर्शन करने वाले तेज गेंदबाज उमेश ने भी कोई योगदान नहीं दिया है। अकेले मोर्न मोर्कल ने 6.62 के इकोनोमी रेट से सर्वाधिक तीन विकेट लिये हैं। 
         
इसलिये कोलकाता को गेंदबाजी और बल्लेबाजी दोनों विभागों में सुधार करना होगा तो पंजाब को जीत के करीब पहुंचने के बावजूद आखिरी क्षणों में संघर्ष छोड़ देने की अपनी खराब आदत से उबरना होगा। मुंबई इंडियन्स के खिलाफ मुकाबले में पंजाब ने 177 का मजबूत स्कोर बनाने के बाद मुंबई के एक समय 46 पर पांच विकेट गिरा दिये लेकिन फिर खराब गेंदबाजी और कैच टपकाने से उसे आसान मुकाबले में भी 18 रन से ही जीत मिल सकी।  
       
इसी तरह दिल्ली के खिलाफ मुकाबले में पंजाब के बल्लेबाजों ने 166 का संतोषजनक लक्ष्य रखा लेकिन गेंदबाज इसका बचाव नहीं कर सके। जॉनसन तो सबसे महंगे साबित हुये और सर्वाधिक 42 रन देकर कोई विकेट नहीं निकाल सके। खुद कप्तान बैली ने इस गलती को स्वीकार किया। उम्मीद है कि टीम क्षेत्ररक्षण में इस बार बेहतर प्रदर्शन करेगी।

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